दोस्त के भाई ने मेरी कामवासना को सांत किया

Antarvasna Story – हेल्लो दोस्तो, जो लोग भी सेक्स स्टोरी पढ़ते है। वो आज मेरी स्टोरी पढ़ के जरूर उतेजित हो जयेंगे और आप सभी लड़के अपना लण्ड पकड़ के हिलाने लगेंगे और लड़कियां पढ़ते हुए अपने चूत में उंगली करने लगेगी।
इस कहानी में मैंने अपनी फ्रेंड के भाई के साथ सेक्स कर के अपने अंदर की कामवासना की मिटाई।

मेरा नाम सोनिया है, मेरी उम्र अभी 22 साल है। मैं जिस कॉलेज में थी उसी कॉलेज में मेरी एक फ्रेंड थी शिखा वो मेरी बहोत अच्छी फ्रेंड थी। मैं काफी कम उम्र से सेक्स के प्रति बहोत रुचि लेती रहती थी। मैं अक्सर सेक्स स्टोरी पढ़ती और पोर्न भी देखती थी। मेरा दो बॉयफ्रेंड था और मैं दोनो के साथ रोजना सेक्स किया करती थी। लेकिन कुछ दिन पहले दोनों को मेरी सचाई पता चल गई और मेरा दोनो से ब्रेकअप हो गया।

अब मुझे लण्ड की तलाश थी जो मेरी चूत की आग को सांत कर सके। मेरी जो फ्रेंड शिखा थी मैं उसके घर गई एक दिन, वहाँ उसका भाई भी था। वो करीबन 19 साल का होगा। जब मैं उसके घर गयी तो मैंने ध्यन दिया कि उसका भाई मुझे घूर के देख राह है। उसकी नज़र मेरे चुचियो पे थी। मैंने ध्यन दिया कि उसके पैंट में तो तम्बू बना हुआ है। वो अपना लण्ड सही करने रूम में चला गया। मुझे देख उसका लण्ड खड़ा हो गया था और वो जरूर अपने रूम में मूठ मारने गया होगा। हो भी क्यों न क्योंकि मेरी फिगर ही इतनी सेक्सी थी कि किसी का भी लण्ड खड़ा हो जये। साथ मे मैं कपरे भी बहोत टाइट पहनती थी।

मैं ये तो समझ गयी थी कि मेरी फ्रेंड का भाई मेरे ऊपर ध्यन दे रहा था। लेकिन मैं उसे पटा नही सकती थी। वैसे वो था बड़ा हैंडसम और सरीर से भी बड़िया है। मैंने उसके साथ सेक्स करने का सोचा। उसके लिए मैंने प्लान बनाया की मैं एक दिन शिखा के घर गयी और जान भुज के अपने रूम का चाभी उसी के घर छोड़ आयी।मैंने शिखा को कॉल किया और बोला कि मेरी रूम की चाभी तेरे घर रह गयी है। तुम अपने भाई से भेज दो न चाभी लेके।मैं अपना रूम लेके अकेले रहती थी। तो उसके आने से कोई दिकत की बात थी नही। मैं गेट पे वेट की कुछ देर बाद उसका भाई आ गया।

वो चाभी देखे जा रहा था कि मै उसे बोली अन्दर आओ । कम से कम पानी पीके जाओ इते दूर से आये हो। वो भी मान गया और रूम में आके बैठ गया। मैं पानी लेके आयी और जन भुज के पानी उसके शर्ट पे गिरा दिया। मैं बोली ओह सॉरी मैं बोली लाओ मैं तुम्हरा शर्ट सूखा दू। वो मना करने लगा तो मैं उससे सट गयी और उसके शर्ट का बटन खोलने लगी थी। वो कुछ नही बोला और मुझे शर्ट खोलने दिया। मैं शर्ट को बगल में रख के उसके सरीर को छू रही थी जिससे उसके अंदर की हवस जाग जये।

मैं अपना हाथ उसके लण्ड के पास लेके गयी तो उसका लण्ड तो एकदम ताना हुआ था। मै समझ गयी कि अब ज्यादा मेहनत नही करनी है मुझे मैं अपना दुपट्टा हटा के बेड पे लेट गयी। वो मेरे पास आया और मेरी हाथों पे उंगली फेरता हुआ मेरी सीने पे उसने किश किया। मेरे बगल में लेट के मेरे होटो पे होठ रख दिया और मुझे बेतहासा चूमने लगा। उसका एक हाथ मेरी चुचियो को सहला रहा था। मैंने भी उसकी पैंट पे हाथ डाल के उसकी
कर्क पन को महसूस किया।

वो अपना जीन्स खोल के लण्ड को बाहर निकाल दिया और मेरे हाथों में दे दिया। मैं उसके लण्ड को पकड़ के सहला रही थी। वो मेरी होठो को काट रहा था। उसके जीभ मेरे जीभ से टकरा रहे थे। मैं उसका शर्ट खोलने लगी थी। वो खुद उठा और अपना सारा कपड़ा उतार दिया। अब उसने मेरी सूट को उतारना लगा। मैंने भी उसे ज्यादा दिकत नही दिया और अपने सूट को उतार दिया।

वो मेरे बदन को चूम रहा था। चूमते हुए वो नीचे चला गया और मेरी सलवार को भी खोल की नीचे ले गया। मेरे पैर को चूमता हुआ मेरी जांघो को बीच मे अपना सर डाल लिया। वो मेरी पेंटी को नीचे किचा और मेरी चूत में अपना जीभ डाल के उसे चुसने लगा। वो मेरी अंदर की आग को सुलगा दिया था। मैं उसके सर को पकड़ के अपने चूत में धकेल रही थी। मुझे चरम सुख मिल रहा था।

मैं थोरे देर बाद झर गयी। अब वो ऊपर आया और मेरी ब्रा को खोल दिया। वो अपने लण्ड को मेरी चुचियो के बीच में दाल के आगे पीछे कर रहा था। ऐसा करते हुए वो ऊपर आ गया और मेरी मुह में अपना लण्ड डाल दिया। जिस तरह वो मेरा चूत चूस रहा था उसी तरह मैं भी उसका लण्ड चूस के उसको खुस कर रही थी। वो मेरी सीने पे बैठ के मेरी चुचियो को भी डाब रहा था। कुछ ही देर में वो मेरे मुह में बह गया। मैं उसका सारा रस पी गयी।

अब उसकी बारी मेरी चूत को चोदने ने का था। तब उसने अपने फोन से घर कॉल किया औए बोल दिया कि मैं फ्रेंड के यहाँ जा रहा हूं थोड़ा टाइम लगेगा आने में, और अब मेरी चूत पे गया। वो अपना लण्ड मेरे चूत में टिका के पेल दिया। उसका पूरा लण्ड मेरी चूत में एक बार मे चला गया। वो पहली बार सेक्स कर रहा था। लेकिन मैं तो एक्सपेरिंस से भरी हुई थी।मैंने जैसे जौसे बोला वो वैसे वैसे करता गया।

अब मैं उसके ऊपर आ गयी और उसले लण्ड को अपने चूत में लेके खूब मजे ले रही थी। वो बोला कि मैं आपको बहोत दिनों से पसन्द करता था लेकिन कभी बोला नही मैं आपके नाम की बहोत सारी मूठ मार चुका हूँ। मैं बोली आज से मैं तुम्हरी हुई तुम जब चाहो मुझे चोद सकते हो। उस दिन हमने 4 बार अगल अलग पोज़ में सेक्स का आनंद उठाया। उसने मेरी बहोत दिनों की प्यास भुजा दी थी। वो मेरी बहोत अच्छी चुदाई करता है।

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